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अफ्रीकी देश बोत्सवाना में बीते दिनों में 350 से ज्यादा हाथियों की लाशें बरामद हो चुकी हैं


गैबोरोने. अफ्रीकी देश बोत्सवाना में बीते दिनों में 350 से ज्यादा हाथियों की लाशें   बरामद हो चुकी हैं. मरे हुए इन हाथियों की सैंकड़ों तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो रहीं हैं. इन हाथियों में से ज्यादातर की मौत किसी पानी के स्त्रोत के आस-पास हुई है ऐसे में ये शक भी जताया जा रहा है कि ये जहर देने का मामला भी हो सकता है. हालांकि कई वैज्ञानिक इस बात का पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं कि ये कोई बीमारी तो नहीं है.
बोत्स्वाना की सरकार ने अभी इस मामले पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है लेकिन हाथियों के दांतों के लिए उन्हें जहर देकर मारने की इस तरह कीई एक घटना जिम्बाब्वे में भी सामने आ चुकी है. डायरेक्टर ऑफ़ कंजर्वेशन एट नेशनल पार्क रेस्क्यू डॉक्टर नील मैकेन ने गार्जियन से बताया कि इतनी बड़ी संख्या में प्राकृतिक रूप से हाथियों को मरते हुए कभी नहीं देखा गया है. ऐसी मौत सिर्फ सूखे के दौरान होती है लेकिन अभी तो पानी मौजूद है. मैकेन का कहना है कि उनके सहयोगियों ने मई की शुरुआत से लेकर अभी तक दक्षिणी अफ्रीका के इस देश के ओकावांगो डेल्टा में 350 से अधिक मृत हाथियों की पहचान की है.


नहीं पता कैसे हुई मौत
बोत्स्वाना सरकार इस पूरे मामले पर चुप है लेकिन मौत की वजह की छानबीन शुरू कर दी गई है. सरकार ने लैब टेस्ट करवाए हैं लेकिन अभी उनका नतीजा आने में वक़्त है. बता दें कि अफ्रीका में हाथियों की आबादी का एक तिहाई हिस्सा बोत्सवाना में ही रहता है. एक हैलीकॉप्टर के जरिए हवाई सर्वे करने वाली टीम को ही 169 हाथियों की लाशें नज़र आयीं हैं. मैकेन ने बताया कि अलग-अलग टीमों को जो लाशें मिलीं हैं वो 350 से भी ज्यादा हैं. सबसे आश्चर्य की बात ये है कि लाश सिर्फ हाथियों की मिल रही है और किसी जीव की नहीं.



बीमारी भी हो सकती है!
डॉ मैकेन के मुताबिक़ अगर ये अवैध शिकार का मामला होता तो दूसरे जानवर भी मिलते जिनका शिकार हुआ होता लेकिन ऐसा नहीं है. इसके आलावा अगर पानी में जहर डाला गया है तो भी दूसरे जानवर इस पानी का शिकार होते. इसलिए ये किसी बीमारी के कारण भी हुआ हो सकता है. उन्होंने कहा कि मरे हुए ज़्यादातर हाथी मुंह के बल गिरे हुए दिखाई दिए हैं जो कि जहर के लक्षण हैं लेकिन जब तक लैब टेस्ट के नतीजे नहीं आ जाते या फिर कोई प्रमाणिक जानकारी नहीं मिलती तब तक कुछ भी कहना ग़लत होगा.


आशंका इस बात की भी जताई जा रही है कि हो सकता है ये किसी बीमारी के कारण हो जो इंसानों से इन जानवरों में आई हो. बोत्सवाना के वन्यजीव और राष्ट्रीय उद्यान विभाग के कार्यवाहक निदेशक डॉ. साइरिल टोलो के अनुसार, अब तक कम से कम 280 हाथियों की मौत हो चुकी है. उन्होंने बताया कि अभी दूसरे जानवरों के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है और लैब रिज़ल्ट आने के बाद ही स्पष्ट तौर पर कुछ कहा जा सकेगा.


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