आयकर विभाग की इंदौर इन्वेस्टिगेशन विंग ने मंगलवार को वेयर हाउसिंग कंपनी जेआरजी के डायरेक्टरों व इस ग्रुप से लेनदेन में शामिल अन्य कारोबारियों के घर, दफ्तरों पर छापे मारे। छापा मारने पहुंची टीम की कारों पर दो दिवसीय महा-ध्यान शिविर के पोस्टर चस्पा थे। इससे किसी को भनक नहीं लग सकी कि आयकर की टीम कार्रवाई के लिए निकली है।
गोपनीयता बनाने का नतीजा ये हुआ कि छापे में बड़ी मात्रा में नकदी बरामद हुई। विभाग इस बात की जांच कर रहा है कि ग्रुप ने इसमें से कितने की जानकारी रिटर्न में दी है। जो अघोषित नकदी होगी, उसे जब्त कर लिया जाएगा। कार्रवाई घनश्याम गोयल, रोशन पोरवाल, दाल मिल कारोबारी जगदीश गर्ग, बिल्डर अनिल धाकड़ व अन्य लोगों पर हुई।
विभाग ने कंपनी के आरएनटी मार्ग स्थित दफ्तर के साथ ही साकेत नगर, मल्हारगंज, महेश नगर, बड़ा गणपति, टेलीफोन नगर, शिप्रा सहित कुल 15 ठिकानों पर कार्रवाई की। डकाच्या में 75 एकड़ में है जेआरजी ग्रुप का लॉजिस्टिक पार्क आयकर विभाग की मुख्य जांच जेआरजी ग्रुप पर बताई जा रही है, जिसका डकाच्या में 75 एकड़ में बडा़ लॉजिस्टिक पार्क है। ग्रुप को वेयर हाउसिंग सेक्टर की बेस्ट कंपनी होने का रीजनल अवार्ड भी मिल चुका है।
नकदी, रसीदों के आधार पर 22 लोग जांच के घेरे में
छापे में बड़ी मात्रा में नकदी के साथ करोड़ों का नकद ट्रांजेक्शन होने की रसीदें भी मिली हैं। कुल 22 लोग जांच के दायरे में हैं, जिनका ग्रुप के साथ लेनदेन था। अघोषित आय को कंपनी में लगाया जा रहा था। फिर इसका उपयोग जमीन खरीदने और रियल एस्टेट के प्रोजेक्ट शुरू करने में होता था। सूत्रों के अनुसार भाजपा से जुड़े एक नेता और उनके परिजन का नाम भी रसीदों में मिला है। आयकर टीम जांच में मिले दस्तावेजोें के आधार पर दिल्ली भी पहुंच गई है। ग्रुप ने दिल्ली की बोगस कंपनियों से करोड़ों रुपए लेना बताया है। इस मामले की जांच भी शुरू कर दी गई है।
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