- 19 फीसदी यानी 1651 ही टीका लगवाने पहुंचे
कोरोना से जंग लड़ने वाले योद्धा वैक्सीनेशन के मोर्चे पर बैकफुट पर नजर आए। सोमवार को फ्रंट लाइन वर्कर्स के टीकाकरण का पहला दिन था। 8600 लोगों को मैसेज किए गए थे, लेकिन अब तक के सबसे कम मात्र 19 फीसदी यानी 1651 ही टीका लगवाने पहुंचे। पांच सेंटर्स तो ऐसे हैं, जिनमें एक भी टीका नहीं लगा। टीकाकरण 9 बजे शुरू होना था, लेकिन ज्यादातर केंद्रों पर 12 बजे के बाद शुरू हो पाया, क्योंकि लोग ही नहीं आए थे।
बड़ी चूक यह भी हुई कि फ्रंट लाइन वर्कर्स में शामिल सफाईकर्मियों को अंग्रेजी में मैसेज भेज दिए गए, जिन्हें ज्यादातर पढ़ ही नहीं पाए। बीएसएफ के जवानों ने जरूर टीकाकरण में उत्साह दिखाया। उनका हौसला बढ़ाने सबसे पहले बीएसएफ आईजी ने वैक्सीन लगवाया। वैक्सीनेशन अधिकारी को तरह-तरह के जवाब मिलते रहे। किसी ने कहा कि डयूटी टाइम है। किसी ने जवाब दिया कि दिन में आएंगे। कई ऐसे भी थे कि जिनके नंबर सूची से गायब थे।
पूरा दिन इंतजार ही करते रह गए
कई केंद्रों पर नाममात्र का टीकाकरण हुआ। कुछ केंद्रों पर तो जीरो प्रतिशत टीकाकरण हुआ। इनमें मुख्य रूप से शेल्बी हॉस्पिटल, मेदांता, कोरल,ग्रेटर कैलाश हॉस्पिटल, गोकुलदास हॉस्पिटल में एक भी टीका नहीं लग पाया।
फोन आया नहीं और मैसेज देखा नहीं
- निगम में कार्यरत पुष्पा ने टीका नहीं लगवाया। उन्हें पता ही नहीं था कि टीका लगवाने जाना है। क्योंकि जो मैसेज मिला था, उसे वे पढ़ ही नहीं पाईं। आम दिनों की तरह वे पूरे समय अपनी ड्यूटी करती रहीं।
- निगमकर्मी पदमा से जब टीका नहीं लगवाने का कारण जानना चाहा तो उनका भी यहीं जवाब था कि उन्हें किसी का फोन नहीं आया। साथ ही उन्हाेंने भी कोई मैसेज नहीं देखा।
- अनिल बताते हैं कि उन्हें पहले कोई मैसेज नहीं मिला। चार दिन से टाईफाइड था। सोमवार सुबह फोन आने के बाद गए तो अधिकारियों ने खुद मना कर दिया।
- कई सारे लोगों ने फोन नहीं उठाए। कुछ ने नंबर गलत दर्ज करवा दिए। जिससे भी परेशानी हुई।
काम ज्यादा होने से नहीं जा सके
आज लॉ एंड ऑर्डर के काम थे, उसकी वजह से वैक्सीन लगवाने कम लोग पहुंच पाए होंगे। वैक्सीनेशन को पूरा सपोर्ट करेंगे। हम भी लगवाएंगे और स्टाफ को भी इसके लिए प्रेरित करेंगे।
-मनीष कपूरिया, डीआईजी
कोल्ड व फीवर था, रुकना पड़ा
धार्मिक यात्रा को लेकर पुलिस-प्रशासन व अन्य विभाग ड्यूटी पर रहे। धीरे-धीरे टीकाकरण तेज होगा। मुझे कोल्ड व फीवर हुआ था, इसलिए थोड़ा रुक कर लगवाएंगे।
0 टिप्पणियाँ