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अस्पतालों में बेड, रेमडेसिविर और ऑक्सीजन संकट से जूझ रहे शहर को 25 दिन से नेता-अफसर सिर्फ दिलासे दिए जा रहे

 

अस्पतालों में बेड, रेमडेसिविर और ऑक्सीजन संकट से जूझ रहे शहर को 25 दिन से नेता-अफसर सिर्फ दिलासे दिए जा रहे हैं। इन वादों का हिसाब जोड़ें तो हर दिन 5 से 10 हजार इंजेक्शन व 125 टन ऑक्सीजन शुरू हो जाना थी। जबकि वे एमवाय, चाचा नेहरू शुरू नहीं कर पाए। देखें अब तक इन्होंने क्या वादे किए और शहर को क्या मिला।

मंत्री सिलावट 

11 अप्रैल- एमवाय की दो मंजिलों में 300, चाचा नेहरू में 100 मरीजों को रखेंगे, इंडेक्स में 800 बेड मिलेंगे।

सांसद शंकर लालवानी

15 अप्रैल- सरकारी में रेमडेसिविर का स्टॉक, निजी तरस रहे, सीएम और अफसरों से बात की, इसका फॉर्मूला निकालेंगे।
कैलाश विजयवर्गीय

21 अप्रैल- 7 दिन में एमवाय, ईएसआईसी, चाचा नेहरू में 1000 बेड बढ़ाएंगे। तीन दिन में 10 हजार इंजेक्शन आ जाएंगे।
ड्रग कंट्रोलर पी. नरहरि

9 अप्रैल- 35 हजार रेमडेसिविर ऑर्डर कर दिए। 5 हजार शनिवार (11 अप्रैल) को ही आ जाएंगे।

सचिव आकाश त्रिपाठी

25 अप्रैल- रेमडेसिविर की पारदर्शी प्रक्रिया है। 30 अप्रैल तक 1 लाख से ज्यादा इंजेक्शन आएंगे।

कमिश्नर डॉ. शर्मा

30 मार्च- सीएम ने कहा है 10,000 बेड करना है। 4 अप्रैल-चाचा नेहरू तैयार इसमें मरीज भर्ती करेंगे।

कलेक्टर मनीष सिंह

5 अप्रैल- मरीज को रेमडेसिविर अस्पताल में ही मिलेगा। 12 अप्रैल- 1000 सिलेंडर का आपात पूल बनाया है।

...और शहर को मिला क्या ?

ऑक्सीजन- विजयवर्गीय के प्रयासों से रिलायंस के जामनगर प्लांट से 60 टन आक्सीजन मिल रही। पीथमपुर का प्लांट शुरू हो रहा है। हालांकि अभी भी मांग की 70% ही पूर्ती।

रेमडेसिविर- बाजार में सप्लाय बंद है, रोज करीब दो हजार इंजेक्शन मिल पा रहे हैं, जबकि जरूरत 5000 की। कालाबाजारी चरम पर, 40 हजार रुपए तक में बिक रहा।

अस्पताल में बेड ज्यादातर अस्पतालों ने ऑक्सीजन की शॉर्ट सप्लाय के कारण भर्ती बंद कर रखी है। आईसीयू कहीं नहीं है, नॉर्मल बेड मिलने में भी दिक्कत आ रही है।

कोविड केयर सेंटर राधास्वामी सत्संग ब्यास में कोविड केयर सेंटर शुरू हुआ है। मंगलवार को 500 बेड पर 476 मरीज उपचाररत हैं। हालांकि ऑक्सीजन केे इंतजाम नहीं है।

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