सर, ये ब्लैंक चेक लीजिए इसमें राशि आप भर लीजिए और मुझे 5000 रेमडेसिविर इंजेक्शन गरीबों के लिए दे दो। कुछ ऐसे ही शब्द गुरुवार शाम को विधायक संजय शुक्ला ने कलेक्टर मनीष सिंह ने मिलकर रहे। दवा बाजार में इंजेक्शन के लिए मारामारी और अस्पताल में इंजेक्शन नहीं लगने से तड़पते मरीजों की हातल जान कांग्रेस का प्रतिनिधि मंडल शाम को कलेक्टर से मिलने पहुंचा था। शुक्ला के साथ पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा, जीतू पटवारी, विशाल पटेल, विनय बाकलीवाल, अश्विन जोशी, शेख अलीम, राजेश चौकसे, चिंटू चौकसे, टंटू शर्मा, जीतू शर्मा, सर्वेश तिवारी सहित बड़ी संख्या में कांग्रेसी शामिल थे।
पटवारी बोले - भयावह स्थिति होने वाली है
पूर्व मंत्री जीतू पटवारी ने कहा कि इंदौर शहर को कोरोना की यातनाओं को भोगना पड़ रहा है। हम सबको मिलकर इस लड़ाई को लड़ना होगा। कांग्रेस ने प्रशासन को अपने सुझाव दिए हैं। हमारा मानना है कि ऑक्सीजन की समस्या आने वाले समय में भयावह स्थिति पैदा कर सकती है। इसलिए उसकी उपलब्धता को कैसे बढ़ाया जाया, इस दिशा में काम करना होगा। इस बीमारी से हमें कैसे लड़ें, दवाई को लेकर लंबी लाइन जो लग रही है, वह खत्म होना चाहिए। लोगों से भी मेरी यही अपील है लोग खुद अपना लक्ष्य रखें। लॉकडाउन को लेकर कहा कि प्रशासन जो सही समझे वह करे। हमें उनके साथ हैं।
वर्मा बोले - इंदौर का नाम सुन लोग डर रहे
सज्जन सिंह वर्मा ने कहा कि मप्र में सबसे ज्यादा भयावह स्थिति इंदौर मंे है। इंदौर के नाम से लोग डरने लगे हैं। इस बीमारी को सालभर से ज्यादा हो गया है। वैज्ञानिकों ने पहले ही आगाह किया था कि दूसरा दौर बहुत ही भयावह होगा। इसके बाद भी हमारी व्यवस्थाएं पूरी नहीं हैं। सीएम को संक्रमित जिलों में जाकर अधिकारियों से बैठक हालात को जानना चाहिए। यह उपवास जैसी नौटंकी पहले भी सीएम ने की थी। अभी तंबू में बैठकर उपवास कर रहे हैं। इंदौर में ऑक्सीजन की बहुत कमी है। इंजेक्शन मिल नहीं रहे हैं। 500 इंजेक्शन आए थे, जिसके लिए लोगों को सुबह से लाइन में खड़ा कर दिया गया।
प्रधानमंत्री विदेशों में वैक्सीन भेज रहे हैं। वहां से वे इंजेक्शन क्यों नहीं मंगवाते हैं। सालभर से क्या हमारा रोड मैप नहीं बन पाया। पूर्व सीएम कमलनाथ ने फार्मा कंपनी के मालिक से बात कर 5 हजार इंजेक्शन के वायल मंगवाए हैं। प्रदेश की स्थिति विकराल हो रही है। सीएम से बड़ा झूठा प्रदेश में शायद दूसरा कोई नहीं होगा। ऑक्सीजन की कमी से कइयों की मौत हो रही है। सीएम कह रहे हैं ऑक्सीजन की कमी नहीं है। इंजेक्शन के लिए सुबह से शाम तक लोग लाइन में लगे हुए हैं। प्रशासन की दूर दृष्टि बहुत कमजोर है।
लॉकडाउन को लेकर वर्मा ने कहा कि लॉकडाउन के लिए कांग्रेस सहमति देती है, लेकिन आपको उन गरीबों के यहां राशन की व्यवस्था करना होगी, जिनके यहां एक टाइम चूल्हा जलता है। जो सुबह जाता है, शाम को रुपए कमाकर राशन लाता है। आप एक महीने का राशन उनके घर पर भिजवा दो। गरीबों को इंजेक्शन का एक रुपया नहीं लगना चाहिए। जहां चुनाव है वहां कोरोना नहीं है। चुनाव की अभी कोई जरूरत तो नहीं थी।
इंदौर शहर की हालत बदतर, दो-चार दिनों में लाशों के ढ़ेर लगने वाले
उधर, विधायक संजय शुक्ला ने कहा है कि इंदौर में हालत बदतर होते जा रहे हैं। न ऑक्सीजन मिल रहा है और न ही रेमडेसिविर इंजेक्शन। हॉस्पिटल भी फुल हो चुके हैं। ऐसा ही रहा तो इंदौर में आने वाले दिनों में लाशों के ढ़ेर लग जाएंगे। इसकी जवाबदार सरकार और जिला प्रशासन होगा। उन्होंने कहा सरकार को इस और ध्यान देना चाहिए। जनता परेशान है।
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