अस्पतालों में अधिक दाम वसूलने की शिकायतों के साथ प्रशासन के पास लगातार ऐसी कई शिकायतें आ रही हैं, जिनमें कुछ दवाओं के बिल ही नहीं दिए जा रहे हैं। इससे मरीजों को मेडिक्लेम लेने में समस्या आ रही है। साथ ही बिल में गलत हिसाब लगा दिए गए हैं।
एक मरीज ने शिकायत में बताया कि 300 रुपए प्रति घंटे की दर से ऑक्सीजन के दाम लगा दिए और 12 दिन का 80 हजार 700 रुपए केवल ऑक्सीजन का ही हिसाब लगा दिया। प्रशासन के पास शिकायत पहुंची और बिल देखा तो पता चला कि बिल बनाने वाले कर्मचारी ने गलत हिसाब लगाकर बिल बना दिया था।
अपर कलेक्टर राजेश राठौर ने बताया कि जांच के बाद अस्पताल संचालक ने यह हिसाब हटाकर सवा दो लाख के बिल को सवा लाख रुपए कर दिया था। एक अस्पताल को लेकर परिजन ने शिकायत करते हुए कहा कि अस्पताल में माता-पिता दोनों भर्ती थे और कुल 12 रेमडेसिविर इंजेक्शन लगे, जो 5400 की दर से चार्ज किए गए, लेकिन बिल केवल चार इंजेक्शन का ही दिया गया। इसमें भी अपर कलेक्टर राठौर के पास शिकायत हुई और टीम ने संचालक से बात की तो उन्हें तत्काल बाकी इंजेक्शन का बिल दे दिया गया।
एरोड्रम रोड स्थित एक अस्पताल से भी अधिक चार्ज लिए जाने की शिकायत हुई, लेकिन शिकायत के बाद मरीज का 67 हजार रुपए का बिल 37 हजार हो गया। प्रशासन के पास आठ और शिकायतें अधिक बिल वसूली को लेकर पहुंची है। मुख्य तौर पर डॉक्टर द्वारा अधिक कंसल्टेंसी लेने, अॉक्सीजन का अधिक चार्ज लेने और अतिरिक्त चार्ज बिल में जोड़ने की शिकायतें आई हैं।
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