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शिकायतों के बाद शासन का बड़ा फैसला:गुरु गोविंद लॉ कॉलेज की मान्यता समाप्त, छात्र होंगे शिफ्ट, संस्थान के पास बार काउंसिल ऑफ इंडिया की मान्यता भी नहीं थी

 

राज्य शासन ने शहर के गुरु गोविंद सिंह लॉ कॉलेज की मान्यता समाप्त कर दी है। इस मामले में यूनिवर्सिटी प्रशासन को भी पत्र भेजा है। कॉलेज के खिलाफ लंबे समय से शिकायतें मिल रही थीं। जांच के बाद सरकार ने मान्यता समाप्त करने का निर्णय लिया। कॉलेज के पास बीसीआई की मान्यता भी नहीं है। शासन ने यहां पढ़ रहे करीब 200 छात्रों को अन्य कॉलेजों में शिफ्ट करने का आदेश दिया है। यूनिवर्सिटी को यह प्रक्रिया जल्द शुरू करना होगी। हालांकि इसमें भी एक पेंच है। किसी भी लॉ कॉलेज में इतनी सीटें खाली नहीं हैं।
इसलिए समाप्त की गई मान्यता

  • किसी और की बिल्डिंग में चल रहा था कॉलेज।
  • बगैर बीसीआई मान्यता के एडमिशन दिए।
  • सीएम हेल्पलाइन के मामलों को गंभीरता से नहीं लिया।

पांच साल से स्थिति खराब : कई लॉ कॉलेज विवादों में, शहर में कोई नया कॉलेज नहीं खुल पाया
एजुकेशन हब इंदौर में पांच साल में कोई नया लॉ कॉलेज नहीं खुल सका है। तीन कॉलेजों की मान्यता हर साल दो से तीन माह देरी से मिलने के कारण यूनिवर्सिटी को रिजल्ट रोकना पड़ता है। एक कॉलेज पहले ही बंद हो चुका है। जो कॉलेज चल रहे हैं, वे छात्रों की संख्या और डिमांड के लिहाज से पर्याप्त नहीं हैं।

करीब छह साल पहले भी तीन लॉ कॉलेजों को बीसीआई से मान्यता मिली थी, लेकिन सख्त गाइडलाइन और नियमों की वजह से वे शुरू ही नहीं हो सके। शासन ने खरगोन में नया शासकीय लॉ कॉलेज जरूर मंजूर किया है। संभाग में सिर्फ एक नया कॉलेज ग्रामीण क्षेत्र में खुला है।

लॉ : विवादों से पुराना नाता
लॉ कॉलेजों का विवादों से पुराना नाता रहा है। 2017-18 में शासकीय लॉ कॉलेज की मान्यता निरस्त होने के कारण 200 छात्रों का भविष्य संकट में पड़ गया था। इंदौर क्रिश्चियन लॉ कॉलेज की मान्यता में बार-बार देरी पर भी सवाल उठते रहे हैं।

पहली बार सरकार इतनी सख्त
प्रदेश के लॉ कॉलेजों पर शासन ने सख्ती शुरू कर दी है। लॉ कॉलेजों में संचालित कोर्स बीएएलएलबी, एलएलबी और एलएलएम के तय मापदंडों की मॉनिटरिंग हो रही है। अब एलएलएम संचालित करने के लिए भी बीसीआई की मंजूरी अनिवार्य हो गई है।
मान्यता के लिए ये नियम जरूरी
बीसीआई के मापदंडों के मुताबिक कॉलेजों में फैकल्टी की नियुक्ति छात्र संख्या के हिसाब से होना चाहिए। इसके साथ पर्याप्त संख्या में क्लास रूम, लॉ कोर्स से जुड़ी पुस्तकों की एक विधिवत लाइब्रेरी जैसी कई सुविधाएं अनिवार्य हैं।

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