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VIP नंबरों पर संकट:इंदौर में एक माह में 53 सौ कारें बिकीं; 44 हजार नंबरों में से सिर्फ 30 ही बिके

 

आरटीओ में  वाहनो के वीआईपी नंबरो पर संकट बरकरार है। एक माह में आटो बाजार में 5300 चार पहिया वाहन बिकने के बाद भी वीआईपी नंबरों की प्रति लोगों का रूझान कम है। सभी महंगे नंबर होने के चलते अपनी गाडियों में सामान्य नंबर ही ले रहे है। वर्तमान चल रही सीरीज भी खत्म होने पर है। लेकिन उसमें भी कई नंबर खाली पड़े है। जबकि शहर में अभी त्यौहारो के चलते कई शुभ मोर्हरत आना बाकि है।

आरटीओ में दो बार की नीलामी में करीब 30 वीआईपी नंबर ही बिके हैं। जानकारी के मुताबिक जुलाई माह से लेकर अगस्त में अभी तक सड़कों में करीब पांच हजार से अधिक चार पहिया वाहन आ गए है, लेकिन आरटीओ में महीनों से पड़े नंबरों को लेकर वाहन मालिकों का रूझान ही नहीं है। अधिकारियों के मुताबिक 44 हजार नंबरों में कई वीआईपी नंबर पुरानी सीरीज में भी पड़े हैं। जिन्हें लोग लेना ही नहीं चाह रहे, क्योंकि कंपनियों ने इसकी कीमत ज्यादा तय कर रखी है। साथ ही अगर वह वाहन पर चढ़ते हैं तो उसके बाद में अन्य व्यक्ति को उसे बेचने में दिक्क्त आती है।

कई शुभ मुर्हूत अभी बचे हैं

आरटीओ में अभी चल रही सीरीज खत्म होने पर है, जिसमें जन्माअष्टमी,हरतालिका तीज,गणेश चर्तुथी,नवरात्रि,दशहरा और दीपावली के साथ अन्य मुर्हत आएंगे। इसमें आटो बाजार जोर पकड़ेगा। ऐसे में वाहन चालक नई सीरीज में अपना नंबर लेंगे। वही पुराने वीआईपी नंबर ऐसे ही पड़े रहेंगे।

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