गड्ढों से पटे खंडवा रोड के सुधार के लिए रहवासियों ने पांच साल में छठा विरोध प्रदर्शन किया। रविवार को रहवासियों ने सड़क के किनारे ही नगर निगम के अफसरों को सद्बुद्धि के लिए यज्ञ किया। निगम के अफसरों को सात दिन का अल्टीमेटम भी दिया। इस अवधि में निगम ने सड़क का पैचवर्क नहीं किया तो रहवासी आईटी पार्क चौराहा से तेजाजी नगर चौराहे तक मानव शृंखला बनाकर विरोध करेंगे।
खंडवा रोड रहवासी संघ के रवि दांगी, नरेश, सचिन भंडारी, केदार सिरोही, देवेंद्र वर्मा ने कहा कि सड़क की खराब हालत के कारण यहां से हर घंटे गुजरने वाले 10 हजार से ज्यादा वाहन चालकों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। तीन साल में यहां 20 से ज्यादा लोगों की मौत खराब सड़क पर दुर्घटना के चलते हो गई है। 500 से ज्यादा लोग घायल हो चुके हैं।
यह प्रदेश की सबसे खराब सड़कों में शुमार है। सड़क के दोनों ओर 40 से 45 कॉलोनियों के 70 से 80 हजार लोग इसी सड़क से आना-जाना करते हैं। देवी अहिल्या यूनिवर्सिटी के तक्षशिला कैंपस सहित 20 से ज्यादा शैक्षणिक संस्थान भी इस रोड पर आते हैं।
70 से 80 हजार रहवासी हर दिन आना-जाना करते हैं
40 से 45 कॉलोनियां जुड़ीं हैं इस सड़क से। 70 से 80 हजार लोग इसी रोड से निकलते हैं। 20 से ज्यादा छोटे-बड़े शैक्षणिक संस्थान।
शहर का पहला आईटी पार्क इसी रोड पर है, जहां 3 हजार से ज्यादा आईटी प्रोफेशनल्स काम करते हैं।
12 हजार 800 विद्यार्थी हैं यूनिवर्सिटी के तक्षशिला कैंपस में, जो इसी सड़क से आना-जाना करते हैं। 05 लाख से ज्यादा श्रद्धालु हर साल शामिल होते हैं राधा स्वामी सत्संग आश्रम में। 02 हजार से ज्यादा श्रद्धालु हर सप्ताह जाते हैं स्वामी नारायण मंदिर में। शहर से ओंकारेश्वर जाने वाले श्रद्धालु भी इसी मार्ग से गुजरते हैं।
ट्रैफिक से ज्यादा यहां प्रदर्शन चला
2017 - में सबसे पहला जनआंदोलन हुआ। रोड बनाने के आश्वासन पर समाप्त। 2018 - में अर्थी निकालकर प्रदर्शन किया। अफसरों ने लिखित वादा किया। 2019 - में इस रोड पर मारे गए लोगों को श्राद्ध कर प्रदर्शन किया। 20201 - के 10 महीने में यह तीसरा विरोध प्रदर्शन है। 7 दिन का अल्टीमेटम है।
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