इन्दौर संभाग के सभी नगरीय निकाय कार्बन डाई ऑक्साइड उत्सर्जन कम करने के सभी जतन करेंगे। सभी निकाय कार्बन क्रेडिट मोनेटाइजेशन पर काम करेंगे। कार्बन क्रेडिट के अंक अर्जित कर अतिरिक्त आय भी प्राप्त करेंगे। संभागायुक्त और इंदौर नगर निगम के प्रशासक डॉ. पवन कुमार शर्मा की पहल पर इंदौर संभाग के सभी नगरीय निकायों को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के द्वारा इस संबंध में प्रशिक्षण दिया गया। स्मार्ट सिटी इंदौर के सीईओ श्री ऋषव गुप्ता ने उन्हें अपने प्रजेंटेशन से इस संबंध में आधारभूत जानकारी उपलब्ध कराई। उन्होंने कार्बन क्रेडिट अर्जित करने की प्रक्रिया से भी उन्हें अवगत कराया। वीडियो कांफ्रेंसिंग के दौरान अपर आयुक्त श्री रजनीश कसेरा एवं संभाग के सभी नगरीय निकायों के कार्यालय प्रमुख उपस्थित थे।
संभागायुक्त डॉ. पवन शर्मा ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में कहा कि सभी नगरीय निकाय कचरा पृथक्कीकरण प्रक्रिया की शुद्धता पर ध्यान दें। ऐसे सभी उपाय सुनिश्चित करें, जिनसे कि कार्बन डाई ऑक्साइड के उत्सर्जन कम होता है। स्मार्ट सिटी द्वारा इस संबंध में दस्तावेजीकरण और अन्य सभी तरह की उपयोगी जानकारी उपलब्ध करायी जाएगी। समय-समय पर मार्गदर्शन भी प्रदान किया जाएगा। उन्होंने कहा कि क्लाइमेट चेंज एक वैश्विक समस्या है और हम सभी के समेकित और छोटे-छोटे प्रयासों से आने वाले समय में हम कार्बन का उत्सर्जन कम करने में सफल होंगे।
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के द्वारा कार्बन रेटिंग क्रेडिट कैसे ले सकते हैं इस बारे में विस्तार से जानकारी दी गई। स्मार्ट सिटी के सीईओ श्री ऋषव गुप्ता ने बताया कि स्मार्ट सिटी कंपनी ने वर्ष 2020-21 के समय लगभग 70,000 कार्बन क्रेडिट अर्जित कर 9 करोड़ रुपये की आय अर्जित की है। इंदौर इस तरह आय अर्जित करने वाला देश का पहला शहर है। इंदौर संभाग के अन्य नगरीय निकाय भी ऐसा कर सकते हैं। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में खंडवा और बुरहानपुर के नगर निगम आयुक्त सहित धार, मनावर, पीथमपुर, खरगोन सनावद, बड़वाह, सेंधवा, बड़वानी, झाबुआ, आलीराजपुर नेपानगर, धामनोद, राऊ, सांवेर बेटमा, गौतमपुरा, देपालपुर, हातौद, मानपुर और महू गाँव के मुख्य नगरपालिका अधिकारी सम्मिलित हुए।
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में श्री ऋषव गुप्ता ने बताया कि इको फ्रेंडली प्रोजेक्ट अपनाकर कार्बन क्रेडिट अर्जित किए जा सकते हैं। रिन्युअल एनर्जी प्रोजेक्ट के तहत सोलर रूप टॉप और स्माल स्केल हाइडल प्रोजेक्ट्स लगाए जा सकते हैं। ऊर्जा दक्षता प्रोजेक्ट के तहत एलईडी लाइटिंग प्रोजेक्ट अपनाए जा सकते हैं। कार्बन उत्सर्जन ईंधन का प्रयोग कम करके परिवहन के ऐसे माध्यम जैसे इलेक्ट्रिक वाहनों और अन्य साधनों का प्रयोग बढ़ाया जा सकता है। ठोस कचरा प्रबंधन और सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट बायो गैस आधारित प्रोजेक्ट और एनिमल वेस्ट मैनेजमेंट अपनाकर भी कार्बन क्रेडिट अर्जित की जा सकती है। श्री गुप्ता ने बताया कि प्लास्टिक एकत्रीकरण और रिसाइक्लिंग पर भी ध्यान दिया जाना होगा। उद्योगों में कार्बन उत्सर्जन मिटिगेशन मैकेनिज्म अपनायी जानी चाहिए।
*इंदौर स्मार्ट सिटी के साथ खरगोन, बड़वाह और सनावद नपा करेगी एमओयू*
खरगोन नगर पालिका के साथ साथ बड़वाह और सनावद नगर पालिका भी कार्बन क्रेडिट को लेकर इंदौर स्मार्ट सिटी के साथ एमओयू करेगी। खरगोन शहरी परियोजना अधिकारी श्रीमति प्रियंका पटेल ने जानकारी देते हुए बताया कि सोमवार को स्मार्ट सिटी इंदौर ने सम्भाग की नगर पालिकाओं के साथ कार्बन उत्सर्जन को लेकर वर्चुअल कार्यशाला आयोजित की। इस कार्यशाला का मुख्य उद्देश्य ऐसी नगर पालिकाएं जो अपने नगर के कचरे का निपटान उचित तरीके से करना चाहते है। लेकिन प्रारम्भिक स्थिति में समस्याएं होने से कार्य प्रारम्भ नही हो सका है। इसके लिए स्मार्ट सिटी अपनी तरफ से सारी सुविधाएं जैसे पंजीयन या अन्य तरह से सहयोग करेगी। जिससे नगर पालिकाएं कार्बन क्रेडिट के क्षेत्र में आगे बढ़ सके।
*धार जिले के नगरीय निकाय भी बनायेंगे कार्ययोजना*
धार के डिप्टी कलेक्टर एवं पीओ डूडा श्री राहुल चौहान ने बताया की धार जिले के मनावर,पीथमपुर, धमनोद और धार नगरीय निकायो में कार्बन क्रेडिट हासिल करने के लिए पेड़ लगाने,एलईडी लाईट का उपयोग, सोलर पैनल लगाने, कचरे का व्यवस्थित प्रबंधन करने की कार्ययोजना बना कर अमल में लाने की योजना है। इसके साथ ही प्लास्टिक का रीसाइक्लिंग, कचरे से बॉयोगैस बनाना,आदि वे सभी गतिविधिया जिनसे कार्बन के उत्सर्जन को नियंत्रित कर सके किया जाना प्रस्तावित है
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