आज सावन का पहला सोमवार है। भगवान शिव की पूजा के लिए सावन सोमवार को बहुत ही खास माना जाता है। शिवपुराण के मुताबिक इस दिन व्रत और पूजा से हर तरह की परेशानियां दूर होने लगती हैं। इसके साथ ही परिवार में सुख शांति रहती है। महाकाल होने के कारण शिवजी की विशेष पूजा से दुर्घटना और अकाल मृत्यु नहीं होती।
शिवपुराण के मुताबिक इसी महीने में शिवजी पृथ्वी पर यानी अपने ससुराल आए थे। इसलिए इसी मान्यता के आधार पर कहा जाता है कि हर साल सावन महीने में शिवजी पृथ्वी पर आते हैं। इसलिए इस महीने शिव की विशेष पूजा की जाती है।
पहला सोमवार, 18 जुलाई: पुरी के ज्योतिषाचार्य डॉ. गणेश मिश्र आज की ग्रह स्थिति के बारे में बताते हैं कि आज चंद्रमा पूर्वाभाद्रपद नक्षत्र में रहेगा। साथ ही शोभन और रवियोग भी बन रहा है। इस नक्षत्र के देवता खुद रूद्र हैं। इसलिए इस दिन शिव पूजा का पूरा फल मिलेगा। ज्योतिष में पूर्वाभाद्रपद नक्षत्र को शुभ मुहूर्त में शामिल किया गया है। इस सोमवार को कृष्ण पक्ष की पंचमी तिथि रहेगी। जिससे शिवजी का वास वृषभ यानी नंदी पर रहेगा। इस तरह तिथि, वार और नक्षत्र के संयोग में की गई शिव पूजा पुण्यदायी रहेगी।
सावन सोमवार की विशेष पूजा
शिव मंदिर में जाकर दीपक और धूपबत्ती लगाएं। घर पर भी पूजा कर सकते हैं। नदी या कुएं से शुद्ध जल लाएं। बोरवेल का पानी भी ले सकते हैं। उसमें गंगाजल और कच्चा दूध (बिना गर्म किया हुआ) मिला लें। फिर शिवजी पर चढ़ा दें। जल चढ़ाते वक्त ऊं नम: शिवाय मंत्र बोलें। इसके बाद भगवान को चंदन लगाएं। फिर बिल्वपत्र, धतूरा और मदार के फूल चढ़ाएं। इनके साथ ही जो भी पूजा सामग्री उपलब्ध हो, सब भगवान पर चढ़ाएं और ऊँ नम: शिवाय मंत्र का 108 बार जाप करें। फिर भगवान को मिठाई का प्रसाद चढ़ाकर बांट दें।
सावन सोमवार की पूजा से दूर होती है बीमारियां सावन सोमवार को भगवान शंकर की पूजा से हर तरह की समस्या दूर हो जाती है। इस दिन व्रत या उपवास का फल भी जल्दी ही मिलता है। काशी विद्वत परिषद् के मंत्री डॉ. रामनारायण द्विवेदी बताते हैं कि सावन सोमवार पर शिव पूजा और व्रत से बीमारियां दूर होने लगती है, मनोकामना पूरी होती है, पद-प्रतिष्ठा और उम्र भी बढ़ती है। डॉ. द्विवेदी कहते हैं कि सावन सोमवार को किया गया दान कई गुना पुण्य देता है। जिससे जाने-अनजाने हुए हर तरह के पाप भी खत्म होते हैं।
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