- कर सलाहकारों ने उठाई पोर्टल पर रैंकिंग व दोषी व्यापारियों पर कार्रवाई की मांग
शहर में कई मामलों में फेक इनवॉइस पाए जाने पर या करदाता उसके बताए हुए पते पर न मिलने के चलते जीएसटी विभाग द्वारा उक्त व्यापारी का रजिस्ट्रेशन बैक डेट में कैंसल कर दिया जाता है। उस तारीख से आगे की सभी तारीखों पर उक्त करदाता द्वारा प्रदान सेवाओं पर प्राप्तकर्ता ने लिए हुए इनपुट टैक्स क्रेडिट को अमान्य करने के नोटिस भेजे जा रहे हैं।
यह मुद्दा गुरुवार को हुई ग्रीवांस रिड्रेसल कमेटी की बैठक में भी उठाया गया था। उसमें इस समस्या से निपटने के लिए पोर्टल पर करदाताओं की रैंकिंग का सिस्टम लाने पर काम किए जाने का आश्वासन कर सलाहकारों को दिया गया। बैक डेट में हो रहे कैंसिलेशन में कई ऐसे भी व्यापारी हैं, जिनका जीएसटी नंबर जुलाई 2017 से ही निरस्त किया जा रहा है। ऐसे में उनसे इन 5 साल की अवधि में लेनदेन करने वाले सभी करदाताओं से विभाग इनपुट टैक्स क्रेडिट वापस वसूल रहा है। यह वसूली की कार्रवाई अधिकतर मामलों में प्राप्तकर्ता से की जा रही है।
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