उज्जैन की केंद्रीय जेल भैरवगढ़ में 13.54 करोड़ की भविष्य निधि के गबन में पूर्व जेल अधीक्षक उषा राज का बैंक लॉकर गुरुवार को खुलवाया गया। रात तक लॉकर की सर्चिंग चलती रही, जिसमें करीब तीन किलो से अधिक सोना, डायमंड ज्वेलरी और प्रॉपर्टी संबंधी कई अहम दस्तावेज पुलिस को मिले हैं। गबन कांड में ये बड़ी रिकवरी बताई जा रही है। इधर एसआईटी में अब अभियोजन अधिकारियों को भी शामिल कर लिया गया है।
जेल प्रहरी रिपुदमन सिंह व अन्य के साथ मिलकर कर्मचारियों की भविष्य निधि के गबन में शामिल केंद्रीय भैरवगढ़ जेल की पूर्व अधीक्षक उषा राज ने पुलिस को पूछताछ में कुछ ख़ास जानकारी नहीं दी। लेकिन उसके बैंक लॉकर ने जरूर राज उगला है। उषा राज की 8 अप्रैल को रिमांड खत्म होने जा रही है। मामले में डीपीएफ के अलावा पे बिल सहित कई तरह की गड़बड़ी सामने आई है। इस बीच रिकवरी को लेकर चिंतित पुलिस को कोर्ट ने उषा राज के लॉकर खोलने की अनुमति दे दी। पुलिस को कोर्ट से अनुमति मिलने के बावजूद भी कई घंटे बैंक में जद्दोजहद करना पड़ी, तब जाकर सेठी नगर की बैंक ऑफ़ इंडिया के लॉकर खुलवाए जा सके। पुलिस सूत्रों की माने तो लॉकर में से तीन किलो से अधिक सोना हीरे के जेवरात और उषा राज की अलग-अलग प्रॉपर्टी के दस्तावेज के साथ एफडी भी बरामद हुई है। पुलिस शुक्रवार को उषा राज के लॉकर में मिले ज्वेलरी दस्तावेज का खुलासा कर सकती है।
एसआईटी में इन्हें भी किया शामिल, ताकि मजबूत केस डायरी हो
उप संचालक अभियोजन डॉ. साकेत व्यास, एडीपीओ नीतेश कृष्णन, उमेशसिंह सेंगर को भी एसआईटी में शामिल किया गया है। एसपी सचिन शर्मा के निर्देश के बाद केस डायरी तैयार करने में अभियोजन पक्ष मजबूत रहे व कोई कमी न रह जाए, इसलिए अब एसआईटी में अभियोजन अधिकारी भी हर पहलू को विधि अनुसार कागजी प्रक्रिया से मजबूत कराएंगे।जेल प्रहरी देवेंद्र रायसेन से गिरफ्तार, बहन के यहां छिपा था बंदी से जबरिया वसूली के केस में फरार जेल प्रहरी देवेंद्र चौहान को भी गिरफ्तार कर लिया है। वह रायसेन में बहन के यहां छिपा हुआ था। सीएसपी अनिल मौर्य ने गिरफ्तारी की पुष्टि की है। बताया कि कोर्ट में पेश करने पर जेल प्रहरी व जगदीश परमार का एक दिन का रिमांड मिला है।
जेल प्रहरी देवेंद्र रायसेन से गिरफ्तार
बंदी से जबरिया वसूली के केस में फरार जेल प्रहरी देवेंद्र चौहान को भी गिरफ्तार कर लिया है। वह रायसेन में बहन के यहां छिपा हुआ था। सीएसपी अनिल मौर्य ने गिरफ्तारी की पुष्टि की है। बताया कि कोर्ट में पेश करने पर जेल प्रहरी व जगदीश परमार का एक दिन का रिमांड मिला है।
उज्जैन सेंट्रल जेल में हुए 15 करोड़ के गबन मामले में 18 मार्च को जेल अधीक्षक उषा राज को पुलिस ने जेल से हिरासत में लिया। उनसे पूछताछ की जा रही है। इस दौरान वह पुलिस पर भड़क गई। बोली- मुझे हाथ मत लगाना। मैं कोई कैदी या अपराधी नहीं हूं, जो फरार हो जाऊंगी। जेल अधीक्षक खुद को बेकसूर बताती रहीं। एक दिन पहले यानी शुक्रवार को ही उषा राज को भोपाल जेल मुख्यालय ट्रांसफर किया गया था।
कहते हैं कि प्रोविडेंट फंड (पीएफ) सिक्योर होता है। यह बुरे वक्त का साथी है, लेकिन उज्जैन की केंद्रीय भैरवगढ़ जेल के 100 कर्मचारियों के पीएफ अकाउंट में हुई सेंधमारी के बाद तो पीएफ के सिक्योर होने से लोगों का भरोसा हिल गया है। जेल अकाउंटेंट अपने दो जेल प्रहरी साथियों के साथ पिछले 5 साल से जेल कर्मचारियों के पीएफ अकाउंट से 15 करोड़ रुपए निकाल चुका है।
10 दिन पहले 12 मार्च को उज्जैन की सेंट्रल जेल भैरवगढ़ और इससे जुड़ी 4 उपजेलों के कर्मचारियों के साथ 13 करोड़ रुपए से अधिक का गबन सामने आया। कलेक्टर कुमार पुरुषोत्तम ने ट्रेजरी ऑफिसर को थाने भेजकर धोखाधड़ी की रिपोर्ट दर्ज कराई। केस दर्ज होने का पता चलते ही जेल का एक बाबू घर पर ताला लगाकर परिवार समेत फरार हो गया।
उज्जैन में भैरवगढ़ केंद्रीय जेल में कर्मचारियों के डीपीएफ खातों से 13.50 करोड़ रुपए के गबन की मुख्य आरोपी पूर्व जेल अधीक्षक और अकाउंटेंट रिपुदमन की रिमांड 8 अप्रैल तक बढ़ा दी है। वहीं बाकी 3 आरोपियों को 31 मार्च तक रिमांड पर सौंपा है।
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