प्रेस्टीज यूनिवर्सिटी के चांसलर तथा प्रेस्टीज एजुकेशन फाउंडेशन के चेयरमैन, डॉ डेविश जैन के अनुसार, इस समझौते का उद्देश्य प्रेस्टीज संस्थान के छात्रों का प्रबंधन और कंप्यूटर शिक्षा के क्षेत्र में उनकी दृष्टि को बढ़ाना है। सीएसआई के संसाधन और विशेषज्ञता का उपयोग करके, पीआईएमआर अपने पाठ्यक्रम को मजबूत करने के साथ साथ छात्रों को सूचना प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में उन्हें सशक्त बनाएगा।
डॉ. जैन ने कहा कि प्रबंधन शिक्षा में उच्च मान्यता प्राप्त करने और इसे सूचना प्रबंधन और कंप्यूटर कौशल के कटिंग-एज तकनीक के साथ मिश्रित करने में पीआईएमआर की विशेषज्ञता सीएसआई के मिशन के साथ अच्छी तरह मेल खाती है। यह साझेदारी पीआईएमआर के छात्रों को प्रबंधन और कंप्यूटर शिक्षा में प्रगति करने की क्षमता मिलाने के लिए सुनिश्चित करेगी।
पीआईएमआर के डायरेक्टर (यूजी), डॉ. एस रमन अय्यर ने पीआईएमआर और सीएसआई के बीच सहयोग की सराहना करते हुए कहा कि संस्थागत सदस्यता छात्रों के लिए नई सीखने की अवसर प्रदान करेगी, सूचना प्रौद्योगिकी के बदलते क्षेत्र में उनके पेशेवर विकास को पोषण करेगी। उन्होंने कहा कि सीएसआई के संसाधनों और विशेषज्ञता का उपयोग करके पीआईएमआर के पाठ्यक्रम को समृद्ध करने के साथ साथ, उद्योग से संबंधित ज्ञान प्रदान करने और छात्रों को आवश्यक कौशल से सम्पन्न करने का लक्ष्य है, ताकि वे तेजी से बदलते आईटी मंच में सफलता प्राप्त कर सकें।
संस्थागत सदस्यता पीआईएमआर को पूर्व सीएसआई अध्यक्ष प्रो. (डॉ.) ए.के. नायक, डॉ. डेविश जैन, डॉ. सौरभ गुप्ता (संयुक्त सचिव, भारत सरकार), डॉ. एस रमन अय्यर (यूजी कैंपस के निदेशक), डॉ. एआर सुब्रह्मण्यन (रजिस्ट्रार, प्रेस्टीज विश्वविद्यालय) तथा कनवेनर डॉ. नितिन गिरधरवाल की उपस्थिति में प्रदान की गई।
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