इंदौर भारत निर्वाचन आयोग द्वारा दिये गये दिशा-निर्देशानुसार पेम्पलेट्स, पोस्टर्स, पर्चे आदि प्रचार अथवा प्रिंट सामग्री पर मुद्रक एवं प्रकाशक का नाम और पता लिखा जाना अनिवार्य होगा। प्रकाशित सामग्री की प्रतियां निर्वाचन कार्यालय में भी जमा की जाना होगी। प्रिंट सामग्री में संख्या भी अंकित करना होगी। उल्लघंन पाये जाने पर संबंधितों के विरूद्ध वैधानिक कार्यवाही की जायेगी। इसमें 06 माह तक का कारावास, 2 हजार रूपये तक का जुर्माना अथवा दोनों से दंडित किये जाने का प्रावधान है।
यह जानकारी आज यहां कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री आशीष सिंह की अध्यक्षता में संपन्न हुई प्रकाशकों एवं मुद्रकों की बैठक/ प्रशिक्षण में दी गई। बैठक में जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री सिद्धार्थ जैन तथा संयुक्त संचालक जनसम्पर्क डॉ. आर.आर. पटेल भी मौजूद थे। इस अवसर पर लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम-1951 की धारा-127 (क)और भारत निर्वाचन आयोग द्वारा इस संबंध में जारी किये गये दिशा-निर्देशों की जानकारी दी गई। बैठक में निर्देश दिये गये कि लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम-1951 की धारा-127 (क) और भारत निर्वाचन आयोग द्वारा दिये गये दिशा-निर्देशों को अनिवार्य रूप से पालन सुनिश्चित किया जाये। पालन नहीं होने पर संबंधितों के विरूद्ध कार्यवाही की जायेगी। शुचितापूर्ण निर्वाचन के लिए यह अनिवार्य है कि सभी प्रकाशक एवं मुद्रक प्रिंट एवं प्रचार सामग्री में मुद्रक एवं प्रकाशक का नाम, पता, प्रसारित की जाने वाली सामग्री की संख्या अनिवार्य रूप से अंकित करें। प्रकाशित सामग्री की प्रतियां जिला निर्वाचन कार्यालय तथा व्यय लेखा शाखा में जमा करना जरूरी होगा। मुद्रित एवं प्रकाशित सामग्री के आधार पर खर्चा प्रत्याशी के व्यय लेखा में जोड़ा जायेगा। कोई भी प्रकाशक एवं मुद्रक ऐसी सामग्री प्रकाशित नहीं करें जिससे कि आचार संहिता का उल्लघंन होता हो। समाज में घृणा फैलाने, धार्मिक भावनाओं को भड़काने सहित अन्य आपत्तिजनक सामग्री किसी भी हाल में प्रकाशित नहीं की जाये। निर्धारित प्रारूप में जिला निर्वाचन कार्यालय को जानकारी उपलब्ध कराने के निर्देश भी दिये गये।
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