नगरीय प्रशासन मंत्री कैलाश विजयवर्गीय रविवार देर शाम एक निजी कार्यक्रम में पीथमपुर पहुंचे। इस दौरान नगरपालिका अध्यक्ष प्रतिनिधि सुरेश पटेल, उपाध्यक्ष पप्पू असोलिया और पार्षदों ने मंत्री को ज्ञापन सौंपा। उन्होंने भोपाल के यूनियन कार्बाइड के जहरीले कचरे का विरोध करते हुए इसे पीथमपुर के लिए घातक बताया और इसे अन्यत्र स्थानांतरित करने की मांग की।
रामकी प्लॉट के आसपास 5 किलोमीटर तक जहरीले प्रभाव
इसके अतिरिक्त, उन्होंने निर्यात कर की क्षतिपूर्ति और नगरपालिका को उद्योगों से मिलने वाले टेक्स को जारी रखने के लिए ज्ञापन प्रस्तुत किया। नगरपालिका अध्यक्ष प्रतिनिधि सुरेश पटेल ने कहा कि भोपाल का खतरनाक एवं जहरीला कचरा 1984 की भोपाल गैस त्रासदी का कारण बना, जिसमें हजारों लोगों की मौत हुई। बीते दो-तीन वर्षों से रामकी प्लॉट, पीथमपुर में इस कचरे को नष्ट करने का प्रयास किया जा रहा है।
रामकी के तारपुरा, पीथमपुर स्थित प्लॉट के आसपास 4-5 किलोमीटर के क्षेत्र में जहरीले धुएं और गैस से लोगों को घुटन और बीमारियों का सामना करना पड़ रहा है। साथ ही, भूजल स्रोतों में लाल-काले रंग का पानी आ रहा है। इसकी शिकायत क्षेत्रवासियों की ओर सेप्रशासन से लगातार की जा रही है।
एमपीआईडीसी की योजना पर आपत्ति
ज्ञापन में एमपीआईडीसी (मध्यप्रदेश औद्योगिक विकास निगम) की ओर से लागू निवेश क्षेत्र विकास एवं प्रबंधन योजना (पीथमपुर) का भी जिक्र किया गया। उन्होंने कहा कि योजना के तहत नगरपालिका परिषद पीथमपुर की सीमाओं को मुक्त रखा जाना चाहिए था।
हालांकि, एमपीआईडीसी ने केवल आबादी वाले क्षेत्रों को ही मुक्त रखा है, जबकि मप्र राजपत्र क्रमांक 8 (भोपाल, 24 फरवरी 2017) के अनुसार सभी वार्डों की सम्पूर्ण सीमा को मुक्त रखा जाना चाहिए था। उन्होंने अनुरोध किया कि राजपत्र के अनुसार पूरे नगरीय क्षेत्र पीथमपुर की सीमाओं को मुक्त कराया जाए।
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